राजस्थान में सियासत का सस्पेंस , गहलोत ने मोदी की तरह लड़ा चुनाव

जयपुर। पांच राज्यों के चुनावों का एग्जिट पोल गुरुवार देर शाम को और परिणाम 3 दिसंबर को पता चल ही जाएगा, लेकिन तमाम राज्यों में सरकारों को लेकर राजनीतिक विश्लेषकों और पत्रकारों के अपने कयास सामने आ रहे हैं। ज्यादातर पत्रकार और विश्लेषक एमपी, छत्तीसगढ़ और तेलंगाना में कांग्रेस को बढ़त बता रहे हैं, लेकिन राजस्थान में स्थिति सस्पेंस की बनी हुई है।
राजस्थान में चुनाव नतीजों को लेकर पत्रकार और विश्लेषक कुछ भी खुलकर नहीं बोल पा रहे हैं। दरअसल सभी लोगों यही आंकलन है कि राजस्थान में बीजेपी की सरकार बनने जा रही है, लेकिन साथ में वे यह भी बोल रहे हैं कि बीजेपी ने इस बार सबसे खराब चुनाव लड़ा है। कांग्रेस को लेकर उनका मानना है कि गहलोत के खिलाफ एंटी इनकंबेंसी नहीं है, लेकिन विधायकों और मंत्रियों की लोगों ने मुखालफत की है। यही वजह है कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तरह अपने ही चेहरे पर चुनाव लड़ा है। उन्होंने अपनी योजनाओं के माध्यम से यह स्थिति पैदा की है कि आपको विधायक नहीं बल्कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को ही देखना है।

उधर, विश्लेषकों का यह भी मानना है कि पांच साल में सरकार बदलने का रिवाज राजस्थान में कायम रहने वाला है। लेकिन उनका कहना है कि कांग्रेस की स्थिति 2003 या 2013 वाली नहीं होगी। इस बार कांग्रेस 80 से 90 सीटों के आसपास तक पहुंच सकती है। चुनिंदा पत्रकारों का यह भी मानना है कि कांग्रेस के अंडर करंट की भी स्थिति है, यदि ऐसा हुआ तो कांग्रेस राजस्थान में स्वीप भी कर सकती है।

दूसरी ओर राजस्थान में इस बार कांग्रेस और भाजपा के बागी भी मैदान में है जो दोनों ही पार्टियों को कड़ी टक्कर दे रहे हैं। उनके चुनाव जीतने की भी संभावना है। दोनों ही पार्टियों के नेता जीतने वाले बागियों से संपर्क साध रहे हैं। यदि किसी को भी बहुमत का आंकड़ा नहीं मिला तो बागियों व निर्दलीयों की जरूरत पड़ सकती है। वागड़ क्षेत्र में भारतीय आदिवासी पार्टी (बाप) ने 11 से अधिक सीटों पर भाजपा और कांग्रेस प्रत्याशियों को कड़ी टक्कर दी है। इस क्षेत्र में बाप के 3 से 5 सीटें जीतने की उम्मीद है।

कहां से कौन बागी, कितना भारी

– शिव विधानसभा से बीजेपी के बागी रविन्द्र सिंह भाटी और कांग्रेस के बागी फतेह खान के बीच कड़ा मुकाबला।
– चित्तौड़गढ़ में बीजेपी के बागी चंद्रभान सिंह आक्या जीतने की स्थिति में हैं।
– डीडवाना में बीजेपी के बागी यूनुस खान भी मजबूत स्थिति में है।
– शाहपुरा (भीलवाड़ा) में बीजेपी के बागी कैलाश मेघवाल भी चुनाव जीत सकते है।
– सवाई माधोपुर में बीजेपी की बागी आशा मीणा ने कड़े मुकाबले में है।
– झोटवाड़ा से बीजेपी के बागी आशुसिंह सुरपुरा त्रिकोणीय मुकाबले में।
– बानसूर से बीजेपी के बागी रोहिताश्व शर्मा दे रहे कड़ी टक्कर।
– बूंदी से बीजेपी के बागी रूपेश शर्मा त्रिकोणीय मुकाबले में।
– डग (झालावाड़) से बीजेपी के बागी रामचंद्र सुनारीवाल त्रिकोणीय मुकाबले में।
– शाहपुरा (जयपुर) से कांग्रेस के बागी आलोक बेनीवाल दे रहे कड़ी टक्कर।
– नागौर से कांग्रेस के बागी हबीबुर्रहमान गणित बिगाड़ सकते हैं।
– बसेड़ी से कांग्रेस के बागी खिलाड़ीलाल बैरवा भी चुनाव नतीजे को बदलने की स्थिति में है।
– लूणकरणसर से कांग्रेस के बागी वीरेन्द्र बेनीवाल मुकाबले में।
– पुष्कर से कांग्रेस के बागी गोपाल बाहेती मुकाबले में।
– विराट नगर से कांग्रेस के बागी रामचंद्र सराधना त्रिकोणीय मुकाबले में।

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