राज्यमंत्री राजेंद्र गुढ़ा गहलोत मंत्रिमंडल से बर्खास्त

जयपुर। बार-बार नकारात्मक बयानबाजी करके सरकार और मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को परेशानी में डाल रहे राज्यमंत्री राजेंद्र गुढ़ा को मंत्रिमंडल से बर्खास्त कर दिया गया है। राज्यपाल कलराज मिश्र ने शुक्रवार शाम इस संबंध में राज्य सरकार की ओर से भेजे गए एक प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है।
ये वही राजेंद्र गुढ़ा हैं जो दो बार बसपा के टिकट पर चुनाव जीते और अपने साथी सभी 6-6 विधायकों को लेकर अशोक गहलोत सरकार में शामिल हो गए थे। करीब ढाई साल पहले जब गहलोत सरकार पर सियासी संकट आया और पूरी सरकार होटलों में रही, उस वक्त भी राजेंद्र गुढ़ा समेत बसपा से आए 6 विधायक सीएम गहलोत के साथ डटे रहे।

सैनिक कल्याण राज्यमंत्री गुढ़ा अक्सर गहलोत सरकार के खिलाफ अपने बयानों को लेकर चर्चा में रहते आए हैं। हाल ही मई में जब पूर्व डिप्टी सीएम सचिन पायलट ने करप्शन के मुद्दे को लेकर गहलोत सरकार के खिलाफ मोर्चा खोला और जन संघर्ष यात्रा निकाली थी।

तब गुढ़ा ने पायलट के मंच पर बयान दिया था कि इस सरकार ने भ्रष्टाचार के सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं। हमारी सरकार कर्नाटक की 40 प्रतिशत कमीशन वाली सरकार से भी आगे निकल गई है। राजस्थान में बिना पैसे के कोई फाइल आगे सरकती नहीं है। कांग्रेस विधायक भरतसिंह चिल्ला रहे हैं। करप्शन के आरोप लगा रहे हैं। नगरीय विकास एवं आवासन मंत्री शांति धारीवाल और हमारी सरकार का अलाइनमेंट ही खराब हो गया है। यूडीएच में बिना पैसे कोई काम नहीं होता है। गुढ़ा ने कहा था कि भाजपा विधायकों को खरीदने के मेरे पास सबूत हैं। खाली हैलीकॉप्टर किसलिए गए थे। सरकार बचाने के लिए कैसे पैसे दिए गए थे।

गुढ़ा ने शुक्रवार को भी राज्य विधानसभा में अपनी ही सरकार पर सवाल उठाए थे। उन्होंने कहा था कि सरकार को मणिपुर के बजाय राजस्थान में महिलाओं पर हो रहे अत्याचारों पर ध्यान देना चाहिए। दूसरे राज्य के बजाय खुद के गिरेबान में झांकना चाहिए। क्योंकि राजस्थान में भी महिलाओं पर बहुत अत्याचार हो रहे हैं। गुढ़ा का यह निशाना सीधे तौर पर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत पर था। क्योंकि गहलोत ने अपने ट्विटर हैंडल पर मणिपुर की राजस्थान से तुलना करते हुए कहा था कि जोधपुर में 4 जनों की हत्या के आरोपी कुछ ही घंटों में पकड़ लिए गए। लेकिन, मणिपुर में जघन्य अपराध करने वाले 2 माह में भी नहीं पकड़े जा सके हैं। दो घंटे बनाम 2 महीने।
इससे पहले गुढ़ा ने यह बयान भी दिया था कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और सचिन पायलट दोनों ही उनके पीछे पड़े हैं। आखिर उनमें कुछ तो बात है। उन्होंने यह बयान भी दिया था कि वे हर बार बसपा से टिकट लाकर चुनाव जीतते हैं और गहलोत सरकार में मंत्री बनते हैं। उनके प्रयासों में कोई कमी है क्या।

मंत्रिमंडल से बर्खास्त होने वाले गुढ़ा चौथे मंत्रीः
उदयपुरवाटी से विधायक राजेंद्र गुढ़ा चौथे ऐसे मंत्री हैं जो मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के इस कार्यकाल में मंत्रिमंडल से बर्खास्त हुए हैं। इससे पहले तत्कालीन प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष और उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट, पर्यटन मंत्री विश्वेंद्र सिंह और पंचायती राज एवं ग्रामीण विकास मंत्री रमेश मीणा को बर्खास्त किया गया था। तब सीएम गहलोत ने इन पर भाजपा से मिलकर सरकार गिराने की साजिश रचने के आरोप लगाए थे। ऑडियो भी वायरल किए गए थे।

गहलोत को छोड़कर पायलट कैंप में चले गए थे गुढ़ाः
सूत्रों के मुताबिक राज्यमंत्री गुढ़ा पहले मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के समर्थक थे। इसीलिए उन्होंने न केवल दो बार गहलोत को समर्थन किया। बल्कि बसपा विधायकों को कांग्रेस में शामिल करवाकर गहलोत की सरकार को स्थायित्व भी दिया था। बाद में वे पूर्व डिप्टी सीएम सचिन पायलट के कैंप में चले गए थे। हाल ही उनका एक फोटो ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुसलमीन (AIMIM) के राष्ट्रीय अध्यक्ष असदुद्दीन औवेसी के साथ सोशल मीडिया में वायरल हुआ था।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *