सीएम गहलोत ने इंदिरा गांधी के हत्यारों को माफ कर दिया, लेकिन मोदी सरकार खालिस्तानियों को कभी माफ नहीं करेगी : अमित गोयल

जयपुर। प्रदेश कांग्रेस सरकार पर तुष्टिकरण, महिला और दलित उत्पीड़न के आरोप लगाते हुए भाजपा प्रदेश प्रवक्ता अमित गोयल ने कहा कि, जो लोग हमपर आरोप लगाया करते थे कि ये लोग मंदिर तो बनाएंगे , लेकिन तारीख नहीं बताएंगे उन सभी को मैं आगामी 22 जनवरी 2024 को प्रभु श्रीराम के भव्य मंदिर में रामलला की स्थापना के अवसर पर आमंत्रित करता हूं। हमारे लिए गर्व की बात है कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी भारत की आस्था के सांस्कृतिक केन्द्र का उद्धाटन करेंगे। सनातन धर्म को मानने वाले असंख्य लोगों का इंतजार अब समाप्त होने को है, इन पांच सौ सालो में राम मंदिर के निर्माण के लिए बहुत बड़ी संख्या में लोगों ने अपना बलिदान दिया है। भाजपा ने भी इसके लिए एक लंबी लड़ाई लड़ी है, और हमारी सरकारों को उस समय बर्खास्त किया गया था जब इस विवादित ढांचे को जनता के द्वारा ध्वस्त किया गया था।

भाजपा प्रदेश प्रवक्ता अमित गोयल ने कहा कि देश में सबसे लबें समय तक शासन करने वाली कांग्रेस पार्टी ने भगवान श्री राम को काल्पनिक बताने का पाप किया, और कांग्रेस के नेता और वकील कपिल सिब्बल ने 2019 में कोर्ट की सुनवाई के दौरान भगवान श्री राम के मंदिर निर्माण में रोड़े अटकाने का काम किया। आज हमारे प्रदेश में कांग्रेस सरकार पूरी तरह तुष्टिकरण की नीति पर काम कर रही है, लेकिन 2014 से केंद्र मंे पीएम मोदी की सरकार आने के बाद हमारा देश तुष्टिकरण को हटाकर संतुष्टीकरण की ओर बढ़ा है। प्रदेश के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने अपने बयान में देश की तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की हत्या करने वाले खालिस्तान समर्थकों की तुलना हिंदु राष्ट्र की मांग करने वाले लोगों से की है। शायद मुख्यमंत्री गहलोत ने इंदिरा गांधी के हत्यारों को माफ कर दिया, लेकिन भारत सरकार अपने पूर्व प्रधानमंत्री के हत्यारे को माफ नहीं करेगी और यह संघर्ष जारी रहेगा। कांग्रेस के लोग तुष्टीकरण के इस कदर समर्थक हैं कि हमारे मित्र देश इजरायल पर आतंकवादी संगठन हमास ने बरबर हमला किया हजारों महिलाओं बच्चों को बिना किसी अपराध के मार डाला, महिलाओं को निर्वस्त्र करके घुमाया, लेकिन कांग्रेस पार्टी ने कहीं भी हमास के आतंकवादी संगठन की आलोचना नहीं की। इसके अलावा कांग्रेस नेताओं ने इजरायल के समर्थन में एक शब्द नहीं बोला, बल्कि इसके विपरीत भारत सरकार की नीतियों का विरोध किया यह सारा विरोध केवल वोट बैंक की राजनीति के कारण है।
भाजपा प्रदेश प्रवक्ता अमित गोयल ने कहा कि कांग्रेस पार्टी देश में यह मानकर चलती है कि अल्पसंख्यक समुदाय उसका वोट बैंक है, और उसे सुरक्षित करने के लिए देश की सुरक्षा से समझौता करने के लिए भी तैयार रहती है। कांग्रेस के गृहमंत्री ने जयपुर में भगवा आतंकवाद की थ्योरी दी, भारतीयो और भारतीयता को बदनाम करने का प्रयास किया। कांग्रेस पार्टी के युवराज राहुल गांधी ने अमेरिकी राजदूत को कहा था कि भारत को लश्कर-ए-तैयबा से ज्यादा खतरा हिंदुवादी संगठनो से है। यह वही कांग्रेस पार्टी है जिसके तत्कालीन प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने देश के संसाधनों पर पहला अधिकार अल्पसंख्यकों का बताया था। वहीं दूसरी ओर भाजपा ने प्रभु श्री राम के भव्य मंदिर, विश्वनाथ कॉरिडोर, महाकाल कॉरिडोर का निर्माण करवाया और प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में सांस्कृतिक अलख जगाई है। देश में एकजुटता का संदेश दिया है।

भाजपा प्रदेश प्रवक्ता अमित गोयल ने कहा कि बीते पांच सालों में प्रदेश में तुष्टिकरण चर्म पर रहा है। उदयुपर में कन्हैया लाल का मर्डर हुआ उन्हें धमकियां मिली, पुलिस में रिपोर्ट की लेकिन पुलिस ने सुरक्षा उपलब्ध नहीं करवाई और कांग्रेस पार्टी के लिए यह सामान्य घटना थी। देश के चर्चित हत्याकांड श्रद्धा हत्याकांड में मृतका श्रद्धा के 35 टुकड़े कर दिये गये और इस हत्याकांड का आरोपी आफताब नाम का युवक था। इसके बावजूद मुख्यमंत्री गहलोत कहते हैं कि यह हत्या नहीं दुर्घटना मात्र है। प्रदेश में करौली, छबड़ा में दंगे हुए करौली दंगे में तो कांग्रेस के पार्षद की भूमिका सामने आई और छबड़ा दंगे का आरोपी तो कांग्रेस के नेताओं से रोजा इफ्तार पार्टी में सीएम हाउस में फोटो खिंचवा रहा था। कोटा में पीएफआई की रैली को अनुमति प्रदान की गई जबकि हिंदु त्यौहारों पर धारा 144 लगाई जाती है। जयपुर में एक रोडरेज की घटना होती है, दो मोटरसाइकिल भिड़ जाती है उस लड़ाई में एक युवक मारा जाता है उसको लेकर जयपुर को जलाने का प्रयास होता है और सरकार मूकदर्शक बनकर बैठी रहती है। इसके बाद सरकार की ओर से समुदाय विशेष के लोगों के लिए 51 लाख का पुरस्कार दिया जाता है, उसको डेयरी बूथ आवंटित होता है। इसी जयपुर में मनु वैष्णव नाम के एक अखबार हॉकर अपने पैसे मांगने जाता है तो मुस्लिम समुदाय के व्यक्ति उसकी हत्या कर देता है। मृतक मनु वैष्णव को को 51 लाख तो दूर उसके परिवार को 51 रूपये की सहायता भी कांग्रेस सरकार ने नहीं दी। भाजपा प्रदेश प्रवक्ता अमित गोयल ने कहा कि राजस्थान में साढे सात हजार से ज्यादा निर्दोष नागरिकांे की हत्याएं हुई, लेकिन किसी को सरकार ने कोई मुआवजा नहीं दिया। कांग्रेस सरकार लगातार धर्म के आधार पर अपराधियों को संरक्षण देने का काम करती है। जिस प्रदेश का मुखिया अगर दंगों के आरोपियों को कवरिंग फायर देगा और जोधपुर करौली टोंक और अन्य जिलों में तुष्टिकरण की घटनाओं को सामान्य घटना करार देगा तो इसे क्या कहा जाएगा। जब किसी स्टेट का मुख्यमंत्री यह बात बोलेगा तो पुलिस का एक्शन क्या होगा जो आप समझ सकते हैं। वोट बैंक की राजनीति का आलम यह है कि, कांग्रेस पार्टी जो कभी यह नारा देती थी कि ‘‘ना जात पर ना पात पर इन्द्रा जी की बात पर और मोहर लगेगी हाथ पर’’ लेकिन आज स्थिति ये है कि, ना इंदिरा जी की बात पर ना मोहर लगेगी हाथ पर और कांग्रेस की राजनीति जात-पात और तुष्टीकरण पर।

पूर्व राज्यसभा सांसद एंव प्रदेश प्रवक्ता रामकुमार वर्मा ने प्रेसवार्ता को संबोधित करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 2014 में सत्ता संभालते ही उन्होंने देश के सामने संकल्प लिया था सेवा, सुशासन और गरीब कल्याण को प्राथमिकता देंगे। पीएम मोदी ने कहा था कि हमारा केंद्र बिंदु विकास होगा, और हमारी प्राथमिकता सभी का सर्वांगीण विकास बिना भेदभाव के होगा। डॉ. भीमराव अंबेडकर ने सामाजिक और आर्थिक न्याय की दिशा में जो काम किया था, उसी को आगे बढ़ाने का काम पीएम मोदी ने किया है। राजस्थान में 2018 में जब कांग्रेस सरकार आई तो कुर्सी के झगड़े में जिस तरीके से ये लोग अपनी कुर्सी बचाओ अभियान में लड़ते रहे और राजस्थान की जनता कुशासन, भ्रष्टाचार, जंगल राज और कानून व्यवस्था की बदहाली से त्रस्त रही। उसका परिणाम यह हुआ कि राजस्थान में भ्रष्टाचार चरम सीमा पर पहुंच गया और कानून व्यवस्था की स्थिति खराब हुई जिसका सबसे ज्यादा नुकसान गरीब वंचित वर्ग को उठाना पड़ा।

पूर्व राज्यसभा सांसद एंव प्रदेश प्रवक्ता रामकुमार वर्मा ने कहा कि कांग्रेस आजादी के बाद से गरीबी हटाने का नारा देती आई है, लेकिन कांग्रेस ने सिर्फ गरीबों को मुख्य धारा से हटाने का काम किया है। अत्याचारों की बात करें तो आज प्रदेश में 38 हजार अपराध के मामले दर्ज हैं जिसमें से 35 हजार दुष्कर्म के मामले हैं। इनमंे सबसे ज्यादा दलित वर्ग को इसका खामियाजा भुगतना पड़ा है। प्रदेश में थानागाजी, बीकानेर के खाजूवाला और नादौती की घटनाएं सबसे मुख्य घटनाएं हैं।

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