जगजाहिर ने कामयाबी के साथ कदम रखा पहले दशक पर

जगजाहिर हिंदी समाचार पत्र प्रिंट मीडिया, डिजिटल मीडिया, सोशल मीडिया में सकारात्मक, बेबाक, बेधड़क लेखनी के कारण अपनी खास पहचान रखता है।
जगजाहिर हिंदी समाचारपत्र ने 16 सितम्बर, 2022 शुक्रवार को अपने स्थापना दिवस के 9 वर्ष पूर्ण कर 10वें वर्ष में प्रवेश किया। जगजाहिर ने शुक्रवार को पिंकसिटी प्रेस क्लब में 10वें स्थापना दिवस के अवसर पर पत्रकार सम्मान समारोह भी आयोजित किया। सम्मान समारोह के लिये वरिष्ठ पत्रकार ओम सैनी की अध्यक्षता में 11 सदस्यीय अनुशंषा समिति ने पत्रकारों का चयन किया, हालांकि सर्वाधिकार अरूण कुमार जगजाहिर के प्रधान सम्पादक ने अपने पास सुरक्षित रखे, और इसका उपयोग भी किया, जब ओम सैनी की अध्यक्षता में 11 सदस्यीय अनुशंषा समिति ने जगजाहिर पत्रकार सम्मान के लिये सुभाष नाहर अवॉर्ड के लिये इंडिया टुडे के पत्रकार आनंद चौधरी को चयनित किया और आनंद चौधरी कार्यक्रम में अवॉर्ड लेने के लिये मौजूद नहीं रहे तो अरूण कुमार ने जगजाहिर के प्रधान सम्पादक के रूप में अपनी शक्तियों को प्रयोग कर आनंद चौधरी के स्थान पर जी न्यूज के पत्रकार शशि मोहन शर्मा को सुभाष नाहर अवॉर्ड से सम्मानित कर सबको चौंका दिया और एक अच्छी परम्परा कायम की कि जब कोई आपका सम्मान कर रहा है तो सम्मान लेने वाले को या उसके प्रतिनिधि को अवश्य उपस्थित होना चाहिये।
जगजाहिर ने सुभाष नाहर अवॉर्ड के अलावा कुल आठ पुरस्कार प्रदान किये, जिनमें स्वतंत्र पत्रकार राजेन्द्र सिंह गहलोत, पंजाब केसरी के पत्रकार जितेन्द्र सिंह राजावत, कंट्री विजन के पत्रकार जितेन्द्र प्रधान, मृदुल पत्रिका के पत्रकार त्रिलोक शर्मा, राजस्थान पत्रिका के पत्रकार फिरोज सैफी, डिजिटल मीडिया के डॉक्टर मोहम्मद इस्माइल, दीपक आमेटा एवं टाईम्स ऑफ इंडिया के प्रेस फोटोग्राफर भागीरथ को जगजाहिर अवॉर्ड से सम्मानित किया गया। सम्मानित होने वाले पत्रकारों को माला, शॉल, साफा पहनाकर, श्रीफल, मोमेन्टो और कप देकर सम्मानित किया गया।

इस अवसर पर जगजाहिर की ब्रांड एम्बेसेडर किरण अग्रवाल का भी विशेष सम्मान किया गया।
कार्यक्रम की शुरूआत में मंचासीन अतिथियों सौम्या गुर्जर, महापौर, नगर निगम, जयपुर ग्रेटर, मंजू शर्मा, उपाध्यक्ष विप्र कल्याण बोर्ड, राजस्थान सरकार, ज्योति मिश्रा मंत्री, जयपुर शहर भारतीय जनता पार्टी, श्याम माथुर वरिष्ठ पत्रकार का सम्मान किया गया।
सौम्या गुर्जर ने अपने उद्बोधन में कहा कि आज के समय में कलम की ताकत बहुत बड़ी ताकत है और सभी पत्रकार इसका सही उपयोग करें, पता नहीं क्यों मुझे मीडिया में हमेशा ट्रोल किया जाता रहा है, मैं मीडिया के निशानें पर रही हँू, मैं मीडिया की भुक्तभोगी हँू, होता कुछ है मीडिया द्वारा उसका प्रस्तुतिकरण किसी दूसरे अंदाज में कर दिया जाता है। सौम्या गुर्जर ने जगजाहिर के सम्पादक अरूण कुमार की तारीफ करते हुए कहा कि मेरा फ्लाईट से अहमदाबाद जाने का कार्यक्रम था लेकिन मैं अरूण कुमार का आग्रह टाल नहीं पाई और अपना अहमदाबाद जाने का कार्यक्रम निरस्त कर इस कार्यक्रम में आई क्योंकि अरूण कुमार का पत्रकारिता के लिये संघर्ष जगजाहिर है।
वरिष्ठ पत्रकार श्याम माथुर ने कहा कि इस बात से कोई इंकार नहीं कर सकता कि अरूण कुमार का का पत्रकारिता के लिये समर्पण जगजाहिर है, लेकिन राजनेता हमेशा मीडिया का गला घोटतें हैं और मीडिया को ही नसीहत देते रहते हैं, चेहरा खुद का बदसूरत होता है और दोष आईने को देते रहते हैं, महापौर सौम्या गुर्जर भी पत्रकार सम्मान समारोह में पत्रकारों को ही नसीहत देकर चली गई कि होता कुछ और है और मीडिया द्वारा उसका प्रस्तुतिकरण किसी और अंदाज में कर दिया जाता है।

मंजू शर्मा ने अपने उद्बोधन में कहा कि मैं जगजाहिर के प्रधान सम्पादक अरूण कुमार से जगजाहिर के पहले स्थापना समारोह के पहले से ही जुड़ी हुई हँू, अरूण कुमार बधाई के पात्र हैं कि इन्होंने अपने पत्रकार साथियों के सम्मान में पत्रकार सम्मान समारोह का आयोजन कर पत्रकारों का सम्मान किया, पत्रकारिता का सम्मान किया।
ज्योति मिश्रा ने जगजाहिर को शुभकामना देते हुए कहा कि पत्रकारिता का असल काम ही जगजाहिर करना है और जगजाहिर अपना काम पूरी ईमानदारी से कर रहा है इसके लिये अरूण कुमार बधाई के पात्र हैं।

जगजाहिर के प्रधान संपादक अरूण कुमार ने इस अवसर पर अपने उद्बोधन में कहा कि पत्रकार का जीवन तो संधर्षो से ही भरा होता है, कभी मेरे पास पैसे होते हैं तो कलर में अखबार छपा देता हँू, नहीं होते तो ब्लेक एण्ड व्हाइट में छपा देता हँू, बिल्कुल पैसे नहीं होते तो डिजिटल मीडिया के माध्यम से खबरों को जगजाहिर कर देता हँू। सर्दी हो, गर्मी हो, बरसात हो, काम नहीं रूकना चाहिये, मैं ईश्वर को नहीं मानता, मैं तो कर्मप्रधान हँू, इसीलिये मैंने अपने हाथों की लकीरों को भी हटा दिया है, सुभाष नाहर जी के साथ मैंने काम किया था यह मेरा उनके प्रति सम्मान है कि मैं उनके नाम से अवॉर्ड दे रहा हँू, वरना आज के जमाने में आगे बढ़ने के बाद कौन पुराने को याद रखता है। पत्रकारों को एक मंच पर लाना मेंढ़क को तराजू में तौलने जैसा है, बहुत मुश्किल काम है, अगर ऐसा संभव होता तो राजनेता पत्रकारों को नसीहत नहीं दे रहे होते, बल्कि पत्रकार राजनेताओं पर हुकुमत कर रहे होते अपने बेबाक लेखनी के दम पर, लेकिन जब तक अरूण कुमार जिंदा है यह सफर जारी रहेगा, फिर पता नहीं कौन इस विरासत को सम्भाले या न सम्भाले।

पत्रकार सम्मान समारोह में गायक लियाकत अली ने देशभक्ति के गाने सुनाकर जोश भरा, कार्यक्रम का मंच संचालन वरिष्ठ पत्रकार जीनत कैफी ने किया, कार्यक्रम संयोजक स्वतंत्र पत्रकार गीता यादव ने अंत में सभी का आभार व्यक्त किया।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *